नमस्कार दोस्तों मैं आप सभी से एक सवाल पूछो कि अगर आपको सेंट्रल गवर्नमेंट में सबसे डिफिकल्ट मिनिस्ट्री बतानी हो तो कौन सी बात आएंगे इसके बारे में मुझे कमेंट सेक्शन में जरुर बोलिएगा लेकिन यहां पर मेरे हिसाब से ऐसा लगता है कि जो फाइनेंस मिनिस्ट्री है सबसे ज्यादा कठिन है क्योंकि फाइनेंस मिनिस्टर का काम है रिसोर्सेज को एलोकेट करना और आपको पता है कि रिसोर्ट लिमिटेड होते हैं और हर एक मिनिस्ट्री आफ रोड एंड ट्रांसपोर्ट हर कोई मिनिस्ट्री चाहेगा कि उसके पास ज्यादा पैसे आए लेकिन ने बताया कि इस ओर से तो लिमिटेड डिस्ट्रीब्यूटर लोगों की आकांक्षाओं पर उतरना बहुत ज्यादा मुश्किल होता है जब भी बजट आता है आपने देखा होगा शायद ऐसा अभी नहीं हुआ होगा कि हर एक वर्ग हर एक कोई यहां पर खुश हो इसका मेन कारण ही है क्योंकि रिसोर्सेज कम होते स्काउट देश के लिए बहुत ज्यादा डिफिकल्ट होता है जो है बजट पेश होने वाला है इसको लेकर 1 लगभग दो-तीन घंटे बाद जरूर देखेगा उसको लेकिन आज मैं आपसे डिस्कस कर लूंगा कि निर्मला सीतारमण बजट पेश करेंगी उनके लिए 5 सबसे बड़े चैलेंज क्या होने वाले हैं मैं आपकी पोस्ट ऑफ फैब्रिक को कल जो है निर्मला सीतारामन् जी आप बहुत सारे तक इकोनामिक डिसीजन लेने वाली है क्योंकि बजट पेश किया जाएगा और आपको पता है कि जो ग्लोबल ग्रोथ है 2023 24 में वो काफी ज्यादा खराब होने वाली है चाय वर्ल्ड बैंक का आंकड़ा देखिए आज सुबह आईएमएफ का आंकड़ा है आपने देखा होगा आईएमएफए आज सुबह-सुबह बताया है कि 2.8% ग्लोबल ग्रोथ रहने वाली बहुत कम हो जाएगा ग्लोबल ग्रोथ कई देशों में आपको देखने को मिलेगा और इसकी वजह से कई देशों पर इसका बुरा असर होगा और इसकी वजह से यहां पर जो सबसे बड़ा चैलेंज है इस समय निर्मला सीतारामन् जी के लिए वह यह है कि यहां पर पेंडिंग कम करते बेमतलब की जो कहते हैं ना कि यहां पर बहुत ज्यादा खर्च भी नहीं करना है लेकिन साथ साथ है वह भी नहीं रुकना चाहिए तो इस किताब का जितने भी चैलेंज तो एक-एक करके हम समझेंगे सबसे पहला और जो बड़ा चैलेंज है वह है टाइटल फिस्कल डेफिसिट बहुत सिंपल है इसका मतलब होता है कितना खर्च किया और आठ हो गया ₹200 तो यहां पर सरकार को बहुत ज्यादा खर्च नहीं करना है जितना सरकार खर्च करेगी आगे चलकर उसको इतना इंटरेस्ट पर करना होता है और जो पूरा बजट बिगड़ जाता है और इसीलिए जो है वह कंट्रोल में हो ना अगर आप देखोगे तो काफी अच्छा कर रहे थे और जो हमारा टारगेट 30% पहुंचने का उसी की तरफ सूट देखने को मिला ओल्ड यहां पर वापस अगर आप देखिए तो फिस्कल डेफिसिट को फिर से कम करने की कोशिश की जा रही है अभी जो करंट फाइनेंशियल ईयर चल रहा है 2023 2423 का इसमें यहां पर जो फिस्कल डेफिसिट है वह सिक्स पॉइंट 4% रहने का अनुमान है सिक्स पॉइंट चार पर्सेंट जिसको अचीव कर लिया जाएगा लेकिन प्रॉब्लम होने वाला है आगे आने वाला 2 वर्ष है जिसके लिए बजट आएगा 2024 के लिए जो बजट आने वाला है इसमें फिर आ जाएगा इसको लेकर कई सारे पढ़ रहे हैं किस पॉइंट से गिरा कर इसको पर 5.8% तक शायद निर्मला सीतारामन् जानती है कि कल क्या होगा लेकिन यहां पर इसको पढ़ दर्द कम करने की कोशिश की जाएगी जब यह काम होगा तभी इन्वेस्टर उसका कॉन्फिडेंस आता है तभी बाहर से पैसा आता है निवेश होता है भारत के अंदर उनको पता है कि भारत की मजबूत रहेगी क्योंकि आप हमारे पड़ोसी देशों को देखोगे तो उन्होंने ज्यादा एक्सपेंडिचर कर दिया बहुत सारे देश है जो बार-बार कह रहे थे कि सरकार को खर्च करना चाहिए और खर्च करना चाहिए लेकिन खर्च करने से क्या होता है ना आप लिमिटेड हो जाते हैं और जो यहां पर हमें भी उसको काबू में रखना है तो यह एक सबसे बड़ा चैलेंज होने वाला है जो निर्मला सीतारामन् जी हैं और बाकी तो मैं कम खर्च करना होता है तो यहां पर और हमारे ऊपर आता है क्योंकि जब आप डिमांड करोगे करोगे तो कम होगा और प्रोडक्शन मतलब कम जीडीपी यहां पर चैलेंज है एक तरफ को भी देखना बहुत बड़ा चैलेंज होने वाला है और इंफ्रावर्ल्ड किया था कि 2024 में जो जो जीडीपी ग्रोथ है वह लगभग 6 पॉइंट 6 लेकिन आज सुबह-सुबह का बयान आया है आईएमएफ का बयान आया है और यह कहा गया है कि जो जीडीपी ग्रोथ है वह भारत का 2320 में यह 10% होगा तो इसको भी देखना होगा कि आखिरकार स्कूल के लिए आखिर क्या करती हैं अगर आप देखोगे पिछले कुछ वर्षों का जो जीडीपी ग्रोथ रेट है यहां पर आपको देखने को मिल जाएगा देखने को मिला यहां पर जो अभी-अभी करंट ईयर है यहां पर बोला तो गया था लेकिन इससे भी कमाने का अनुसार हो सकता है लेकिन यहां पर इसको देखते हुए सरकार को कुछ बैलेंस करना होगा करना होगा यहां पर कैसे सरकार करेगी लॉन्ग टर्म ग्रुप के ऊपर करेगी और कई सारे मीडिया रिपोर्ट के द्वारा बताया जा रहा है कि सरकार का फोकस होने वाला है कि एग्रीकल्चर के ऊपर ज्यादा जाएगा रूरल डेवलपमेंट और साथ ही साथ जॉब ध्यान में रखना है 2024 में इलेक्शन होने वाले के ऊपर भी ध्यान में रखो क्यों तो आपका कोर इन्फ्लेशन बन जाता है तो ऑपरेशन अभी भी काफी ज्यादा हाई है यहां पर यह कहना है और कोर इन्फ्लेशन जब हाई होता है ना तो बेसिकली एक रोमिंग के ऊपर प्रेशर डालता है और इसकी वजह से हमारा जीडीपी ग्रोथ जो है वह रुक जाता है क्योंकि आप समझिए अगर इंप्रेशन वादा होगा मतलब क्या होता है कि लोग कम एक्सपेंडिचर करेंगे लोग कम एक्सपेंडिचर करेंगे तो इसकी वजह से प्रोडक्शन कम होगा और हमारा ग्रोथ कम हो जाएगा तो इसमें गवर्नमेंट को कई सारे जो एक्सपेंडिचर है बहुत सारे हैं उस को कंट्रोल में रखना है ताकि जो रिजर्व बैंक का कौन है उसके बीच में है और यहां तो है फाइनली वह है आपका सपोर्ट किया जा रहा है कि पूरी दुनिया में अगर आए तो जो मैं आपको बता रहा था होने वाला है और किसको करेंगे और अगर हम भारत में कोई चीज बना रहे और हम सोच रहे हैं सपोर्ट करना है तो इसके अंदर यूरोप कम हो जाएगी तो एक्सपोर्ट नहीं होगा यह जो एक्सपोर्ट है दोस्तों वह यहां पर बरकरार रखा जाए उसके ऊपर क्या करें कि वह देखना है और उससे तो 2022 में कमी आई है करंट अकाउंट डेफिसिट तो all-time हाई पर चला गया देख संतोष थर्टी सिक्स पॉइंट 4 विलन डॉलर यह मैं दिसंबर का आप का आंकड़ा दिखा रहा हूं तो देख रहा होगा अगेन यहां पर एक्सपोर्ट को लेकर क्या किया है चाहता है और जो पासवर्ड चैलेंज है चार हमने डिस्कस कर लिए है जो पांचवा चैलेंज है दोस्तों वह है कंजंक्शंस लो डांस को कंजंक्शन क्यों इंपॉर्टेंट होता है मैं आपको बताता हूं जीडीपी का फार्मूला क्या है जीडीपी का फार्मूला होता है सी प्लस प्लस प्लस एंड गवर्नमेंट एक्सपोर्ट इंपोर्ट एक्सपोर्ट यह आपका काम हो गया तो नीचे चला जाएगा तो यहां पर आता है ज्यादा खर्च नहीं करेगी क्या है नीचे जाएगा नीचे जाएगा और इसी की वजह से बहुत ज्यादा चिंता है कि आखिर सरकार क्या करने वाली है हो सकता है कि यहां पर आना है तो टैक्स में छूट देनी चाहिए जो भी सरकार टैक्स लेती है लोगों से लोगों के पास ज्यादा पैसा बचेगा लोग ज्यादा खर्चा करेंगे मर जाएगा लेकिन यहां पर ऐसा लग नहीं रहा कि टैक्स में कोई बड़ा बदलाव होगा वह तो कल ही पता चलेगा

